ब्रिटेन के प्रिंस चार्ल्स के बाद अब यूनाइटेड किंगडम(UK) के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन और स्वास्थ्य मंत्री भी कोरोना वायरस की चपेट में।
कई देशों में मरने वालों की संख्या हज़ारो में है।अभी तक इस वायरस से बचने की कोई दवाई या इलाज सामने नही आया है।इससे बचाव ही इसका इलाज है।
भारत मे भी इसके मरीजो की संख्या बढ़ती जा रही है।कुछ समय पहले तक तो ये वायरस उन्ही लोगो में पाया गया था जो लोग विदेश यात्रा से वापस लौटे थे पर धीरे धीरे यह भारत की आम जनता में भी फैलने लगा है।
भारत मे 21 दिन के लॉक डाउन में अगर यह संख्या नही घटी तो हो सकता है लॉक डाउन का समय बढ़ा दिया जाए।ऐसे में गरीबी रेखा से नीचे जितने लोग आते है उनके लिए समस्या भयानक रूप ले सकती है।
अगर आपको बचाने वाले ही आपको कोरोना पीड़ित बना दे तो?
राजस्थान का भीलवाड़ा हो या उत्तर प्रदेश का आगरा या दिल्ली की बात करे।इन जगहों पर डॉक्टर तक कोरोना की चपेट में आने से नही बच पाए।ये सभी डॉक्टर किसी न किसी विदेश से आये व्यक्ति के संपर्क में आये थे।भीलवाड़ा में 3 कोरोना पॉजिटिव डॉक्टरों ने हॉस्पिटल में स्टाफ के 15 लोगो को और संक्रमित कर दिया।अभी ये आंकड़ा भड़ने के आसार अधिक है।
अब उन सभी लोगो को खोजा जा रहा है जिन लोगो का इलाज इन डॉक्टर्स द्वारा किया गया हैं।
कई देशों में मौत का आंकड़ा भी बढ़ता नजर आता है।
अमरीका में अभी तक 85 हज़ार मामले सामने आए हैं जो किसी भी देश में सबसे अधिक हैं. चीन में कोरोना संक्रमण के करीब 82 हज़ार मामले सामने आए हैं लेकिन यहां होने वाली मौत का आंकड़ा 3291 है जबकि अमरीका में अब तक 1296 लोगों की मौत हुई है।
दुनिया भर में अब तक 5 लाख से ज़्यादा लोग कोरोना पॉजिटिव पाए गए है साथ ही मरने वालों की संख्या 24,000 के पार जा चुकी है।
भारत में कोविड-19 के मामलों की संख्या 863 से अधिक पहुँच चुकी है और अब तक 18 लोगों की मौत भी कोरोना की वजह से हो चुकी है।
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